Current Affairs Practice Set

Environment And Ecology CURRENT AFFAIRS SET – 10: 4: (पर्यावरण एवं पारिस्थितिकी )

 Environment And Ecology CURRENT AFFAIRS SET – 10: 4: (पर्यावरण एवं पारिस्थितिकी )

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4. पर्यावरण एवं पारिस्थितिकी

देश का पहला ‘ई-कचरा इको पार्क’

⇒ दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने 24 फरवरी, 2022 को बढ़ते ई-कचरे से निपटने के लिए नई दिल्ली में ‘देश का पहला ‘ ई-कचरा इको पार्क स्थापित करने की घोषणा की।
⇒ इसमें कचरा विध्वंसीकरण, पृथक्करण, नवीनीकरण, भंडारण, परीक्षण, प्लास्टिक रीसाइक्लिंग और कीमती धातु निष्कर्षण सुविधाएं शामिल होंगी।
⇒ नरेला औद्योगिक क्षेत्र में ई-कचरा पार्क की योजना बनाई जा रही है और यह 20 एकड़ में फैला होगा।
⇒ वर्तमान में दिल्ली में प्रति वर्ष 2,00,000 टन से अधिक ई-कचरा उपन्न होता है।

ऑस्ट्रेलिया: ‘कोआला’ लुप्तप्राय प्रजाति घोषित

⇒ 10 फरवरी, 2022 को ऑस्ट्रेलिया ने कोआला को एक लुप्तप्राय प्रजाति के रूप में नामित किया ।
⇒ क्वींसलैंड, न्यू साउथ वेल्स और ऑस्ट्रेलियाई राजधानी क्षेत्र में इस प्रजाति को 10 साल पहले कमजोर प्रजाति के रूप में वर्गीकृत किया गया था।
⇒ कोआला एक शाकाहारी जानवर है, जो ऑस्ट्रेलिया का मूल निवासी है। यह फास्कोलार्क्टिडे परिवार का एकमात्र मौजूदा प्रतिनिधि है ।

रामसर सूची में शामिल – भारत के दो नवीन आर्द्रस्थल

⇒ 2 फरवरी, 2022 को ‘विश्व आर्द्रभूमि दिवस’ के अवसर पर भारत के दो और आर्द्र स्थलों को अंतर्राष्ट्रीय महत्व के आर्द्र स्थलों की रामसर सूची में शामिल किया गया ।
⇒ इन दो नए रामसर स्थलों में खिजड़िया वन्यजीव अभयारण्य, गुजरात और बखिरा वन्यजीव अभयारण्य, उत्तर प्रदेश शामिल हैं।
⇒ इसके साथ ही भारत में रामसर स्थलों की संख्या 49 हो गई है।
⇒ इससे पूर्व दिसम्बर, 2021 में उत्तर प्रदेश के हैदरपुर आर्द्रभूमि को 47वें रामसर स्थल के रूप में जोड़ा गया था।
⇒ भारत में अब 10,93,636 हेक्टेयर क्षेत्र में रामसर साइटों का नेटवर्क है, जो दक्षिण एशिया में सबसे अधिक है।
⇒ उत्तर प्रदेश के संत कबीर नगर में स्थित बखीरा वन्यजीव अभयारण्य उत्तर प्रदेश का 10वां रामसर स्थल है।
⇒ पक्षियों की व्यापक विविधता वाला खिजड़िया वन्यजीव अभयारण्य तटीय आर्द्रभूमि है, जो लुप्तप्राय और कमजोर प्रजातियों को एक सुरक्षित आवास प्रदान करती है।
⇒ आर्द्रभूमि संरक्षण हेतु वर्ष 1971 में ईरान के रामसर में सम्मेलन हुआ और इसके समझौते 1975 से प्रभावी हुए । भारत इसमें 1982 में शामिल हुआ । विश्व में 2400 से अधिक रामसर स्थल हैं।
⇒ सबसे अधिक यूनाइडेट किंगडम के 175 स्थल इस सूची में शामिल हैं। रामसर सूची में शामिल होने वाला प्रथम स्थल ऑस्ट्रेलिया का कोबोर्ग प्रायद्वीप था (1974)।
⇒ भारत का सबसे बड़ा आर्द्रभूमि स्थल- सुंदरवन वेटलैंड (पश्चिम बंगाल) भारत का सबसे छोटा आर्द्रभूमि – रेणुका वेटलैंड (हिमाचल प्रदेश ) ।
⇒ भारत का पहला कृत्रिम आर्द्रभूमि स्थल हरिके बैराज है।

भारत का सबसे बड़ा इलेक्ट्रिक वाहन चार्जिंग स्टेशन

⇒ भारत का सबसे बड़ा इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) चार्जिंग स्टेशन, चार पहिया वाहनों के लिए 100 चार्जिंग पॉइंट के साथ 28 जनवरी, 2022 को गुरुग्राम के सेक्टर 52 में शुरू किया गया।
⇒ चार्जिंग स्टेशन 72 एसी स्लो – चार्जर और 24 डीसी फास्ट चार्जर के साथ स्थापित किया गया है।
⇒ इससे पहले देश का सबसे बड़ा ईवी चार्जिंग स्टेशन नवी मुंबई में था, जिसमें ऐसे वाहनों के लिए 16 एसी और 4 डीसी चार्जिंग पोर्ट थे ।

बाघ संरक्षण पर चौथा एशियाई मंत्रिस्तरीय सम्मेलन

⇒ ‘बाघ संरक्षण पर चौथा एशिया मंत्रिस्तरीय सम्मेलन’ मलेशिया सरकार और ग्लोबल टाइगर फोरम द्वारा 19 से 21 जनवरी, 2022 तक आयोजित हुआ।
⇒ सम्मेलन ने कुआलालंपुर संयुक्त वक्तव्य को अपनाया, जिसमें 14 प्रतिबद्धताओं को सूचीबद्ध किया गया था। इसमें वन्यजीवों के अवैध शिकार और तस्करी से निपटने के लिए कानून प्रवर्तन एजेंसियों के बीच समझौता किया गया।

एल्बिनो मगरमच्छ

⇒ जनवरी 2022 में ओडिशा के भितरकनिका राष्ट्रीय उद्यान में एक दुर्लभ एल्बिनो खारे पानी का मगरमच्छ पाया गया।
⇒ वन कर्मियों ने इसका नाम ‘श्वेता’ रखा है। श्वेता का जन्म तीन साल पहले हैचरी (hatchery ) में हुआ था ।
⇒ भितरकनिका राष्ट्रीय उद्यान में अब तीन ‘कैप्टिव एल्बिनो मगरमच्छ ‘ हैं।

भारत की सबसे बुजुर्ग स्लॉथ बीयर ‘गुलाबो’ की मृत्यु

⇒ ‘गुलाबो’ नाम की भारत की सबसे बुजुर्ग मादा स्लॉथ बीयर की 9-10 जनवरी, 2022 की रात भोपाल के ‘वन विहार राष्ट्रीय उद्यान और चिड़ियाघर’ में मौत हो गई। गुलाबो की उम्र 40 वर्ष थी।
⇒ गुलाबो को मई 2006 में 25 साल की उम्र में एक मदारी ( नुक्कड़ कलाकार) से बचाया गया था।
⇒ यह भारतीय उपमहाद्वीप का मूल निवासी है और भारत, नेपाल, भूटान और श्रीलंका में पाया जाता है।

भारत वन स्थिति रिपोर्ट – 2021

⇒ 13 जनवरी, 2022 को केंद्रीय पर्यावरण एवं वन मंत्रालय द्वारा जारी द्विवार्षिक ‘भारत वन स्थिति रिपोर्ट-2021’ जारी की गई। रिपोर्ट के अनुसार 2019 की तुलना में देश में वन और वृक्षों के आवरण में 2,261 वर्ग किलोमीटर की बढ़ोतरी हुई है ।
⇒ देश का कुल वन आवरण और वृक्ष आवरण 80.9 मिलियन हेक्टेयर है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 24.62% है।
⇒ 2021 में भारत का कुल वन आवरण 713,789 वर्ग किमी है, जो देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 21.71% है।
⇒ 2019 में पिछली रिपोर्ट की तुलना में वन आवरण में 1,540 वर्ग किमी और वृक्षावरण में 721 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है।
⇒ वन आवरण में सबसे ज्यादा वृद्धि ‘खुले वनों’ (Open forest) में देखी गई है, उसके बाद यह बहुत घने वनों (Very dense forest ) में देखी गई है।
⇒ वन क्षेत्र में वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष तीन राज्य आंध्र प्रदेश (647 वर्ग किमी), तेलंगाना (632 वर्ग किमी) और ओडिशा (537 वर्ग किमी) हैं।
⇒ 17 राज्यों और केंद्र – शासित प्रदेशों का 33% से अधिक क्षेत्र वन आच्छादित है। इनमें से पांच राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों लक्षद्वीप, मिजोरम, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, अरुणाचल प्रदेश और मेघालय में 75% से अधिक वन क्षेत्र हैं।
⇒ क्षेत्रफल के हिसाब से मध्य प्रदेश में देश का सबसे बड़ा वन क्षेत्र है । इसके बाद अरुणाचल प्रदेश, छत्तीसगढ़, ओडिशा और महाराष्ट्र हैं।
⇒ देश में कुल 17 वर्ग किमी की बढ़ोतरी के बाद अब कुल मैंग्रोव क्षेत्र 4,992 वर्ग किमी हो गया है।
⇒ देश के वनों में कुल कार्बन स्टॉक 7,204 मिलियन टन है, जिसमें 2019 से 79.4 मिलियन टन की वृद्धि हुई है।

सर्वाधिक वनावरण क्षेत्रफल वाले राज्य

राज्य ⇒ वर्ग किमी.

1. मध्य प्रदेश ⇒ 77493
2. अरू. प्रदेश ⇒ 66431
3. छत्तीसगढ़ ⇒ 55717
4. ओडिशा ⇒ 52156
5. महाराष्ट्र ⇒ 50798

सर्वाधिक वनावरण % वाले राज्य

राज्य ⇒ प्रतिशत

1. मिजोरम ⇒ 84.53
2. अरू. प्रदेश ⇒ 79.33
3. मेघालय ⇒ 76.00
4. मणिपुर ⇒ 74.34
5. नागालैंड ⇒ 73.90

वनावरण में सर्वाधिक वृद्धि वाले राज्य

राज्य ⇒ वर्ग किमी.

1. आंध्र प्रदेश ⇒ 647 (2.22%)
2. तेलंगाना ⇒ 632 (3:07%)
3. ओडिशा ⇒ 537 (1.04%)
4. कर्नाटक ⇒ 155 (0.40%)
5. झारखण्ड ⇒ 110 (0.47%)

वनावरण में सर्वाधिक कमी वाले राज्य

राज्य ⇒ वर्ग किमी.

1. अ. प्रदेश – 257 (0.39%)
2. मणिपुर – 249 (1.48%)
3. नागालैंड – 235 (1.88%)
3. मिजोरम -186 (1.03%)
4. मेघालय – 73 (0.43%)

भारत में मैंग्रोव क्षेत्र

1. कुल क्षेत्रफल ⇒ 4992 वर्ग किमी.
2. ISFR-2019 की तुलना में वृद्धि ⇒ 17 वर्ग किमी.
3. मैंग्रोव में शीर्ष वृद्धि वाले राज्य –
(i) ओडिशा ⇒ 8 वर्ग किमी.
(ii) महाराष्ट्र ⇒ 4 वर्ग किमी.
(iii) कर्नाटक ⇒ 3 वर्ग किमी.

4. सर्वाधिक मैंग्रोव क्षेत्रफल वाले राज्य

(i) पश्चिम बंगाल ⇒ 2114 वर्ग किमी.
(ii) गुजरात ⇒ 1175 वर्ग किमी.
(iii) अंडमान एवं निकोबार ⇒ 616 वर्ग किमी.

सर्वाधिक कार्बन स्टॉक वाले राज्य

1. अरूणाचल प्रदेश ⇒ 1023.04 मिलियन टन
2. मध्य प्रदेश ⇒ 609.28 मिलियन टन
3. छत्तीसगढ़ ⇒ 496.44 मिलियन टन
4. महाराष्ट्र ⇒ 451.61 मिलियन टन

सर्वाधिक टाइगर घनत्व

टाइगर रिजर्व ⇒ घनत्व

1. कॉर्बेट (उत्तराखण्ड) ⇒ 14
2. काजरिंगा (असम) ⇒ 13.06
3. नागरहोल (कर्नाटक) ⇒ 11.82

न्यूनतम टाइगर घनत्व

टाइगर रिजर्व ⇒ घनत्व

1. अम्राबाद (तेलंगाना) ⇒ 0.19
2. संजय डुबरी (मध्य प्रदेश) ⇒ 0.23
3. कलक्कड़ मुडुनथुरई (तमिलनाडु) ⇒ 0.43

सर्वाधिक वनावरण वाले टाइगर रिजर्व (क्षेत्रफल के आधार पर )

टाइगर रिजर्व ⇒ वर्ग किमी.

1. नागार्जुन सागर श्रीशैलम ⇒ 2932.95
2. सिमलीपाल (ओडिशा) ⇒ 2562.86
3. इंद्रावती (छत्तीसगढ़) ⇒ 2377.28

सर्वाधिक वनावरण वाले टाइगर रिजर्व ( प्रतिशत के आधार पर )

टाइगर रिजर्व ⇒ प्रतिशत

1. पक्के ( अरुणाचल प्रदेश) ⇒ 96.83
2. अचानकमार (मध्य प्रदेश) ⇒ 95.63
3. सिमलीपाल (ओडिशा) ⇒ 94.17

अस्कोट वन्यजीव अभयारण्य

⇒ उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में अस्कोट वन्यजीव अभयारण्य को इको- सेंसिटिव जोन घोषित किया गया है। केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय की ओर से 3 दिसंबर, 2021 को जारी गजट नोटिफिकेशन के मुताबिक मूल अभयारण्य क्षेत्र 599.93 वर्ग किलोमीटर को कम कर अब केवल 454.65 वर्ग किलोमीटर तक सीमित कर दिया गया है।
⇒ ‘ पृथ्वी पर हरित स्वर्ग’ के रूप में जाना जाने वाला अभयारण्य, कुमाऊं क्षेत्र में पिथौरागढ़ से लगभग 54 किमी उत्तर में स्थित है, 1986 में मुख्य रूप से कस्तूरी मृग और अन्य दुर्लभ हिमालयी प्रजातियों और उनके प्राकृतिक पर्यावासों के संरक्षण के लिए स्थापित किया गया था।

भारत का पहला घास संरक्षण क्षेत्र

⇒ 14 नवम्बर, 2021 को भारत के पहले घास संरक्षण क्षेत्र का उद्घाटन अल्मोड़ा जिले के रानीखेत में किया गया।
⇒ यह घास संरक्षण क्षेत्र 2 एकड़ क्षेत्र में विस्तारित है। यह संरक्षण क्षेत्र उत्तराखंड वन विभाग की शोध शाखा द्वारा विकसित किया गया है।
⇒ इसे केंद्र सरकार की क्षतिपूरक वनीकरण कोष प्रबंधन एवं योजना प्राधिकरण (कैंपा ) द्वारा वित्तपोषित किया गया है। इस संरक्षण क्षेत्र में महत्वपूर्ण वैज्ञानिक पारिस्थितिक, औषधीय एवं सांस्कृतिक रूप से लगभग 90 विभिन्न घास प्रजातियों को उगाया गया है।

दुनिया का सबसे बड़ा सोलर पावर पार्क – भादला

⇒ राजस्थान में स्थित भादला सोलर पार्क दुनिया का सबसे बड़ा सोलर पावर पार्क है। यह सोलर पार्क राजस्थान के सूखे और रेतीले क्षेत्र भादला में स्थित है। यह 14,000 एकड़ में फैला है।
⇒ इस पार्क में 10 मिलियन सौर पैनल शामिल हैं। ये सौर पैनल 2245 मेगावाट की परिचालन क्षमता में योगदान करते हैं।
⇒ 2020 तक भादला सोलर पार्क दुनियाभर में सबसे बड़ा सोलर पार्क है। यह राजस्थान के जोधपुर जिले के भादला में 5,700 हेक्टेयर क्षेत्र में फैला हुआ है। इस पार्क की कुल क्षमता 2245 मेगावाट है ।

वैश्विक मीथेन प्रतिज्ञा

⇒ वैश्विक मीथेन प्रतिज्ञा 2 नवंबर, 2021 को ग्लासगो में चल रहे UN COP26 जलवायु सम्मेलन में लॉन्च किया गया। अब तक 90 से अधिक देशों ने इस प्रतिज्ञा पर हस्ताक्षर किए हैं।
⇒ वैश्विक मीथेन प्रतिज्ञा की घोषणा पहली बार सितंबर 2021 में अमेरिका और यूरोपीय संघ द्वारा की गई थी। यह वैश्विक मीथेन उत्सर्जन को कम करने के लिए एक समझौता है ।
⇒ इस प्रतिज्ञा की घोषणा 2020 के स्तर की तुलना में वर्ष 2030 तक मीथेन उत्सर्जन को 30 प्रतिशत तक कम करने के उद्देश्य से की गई थी।

भारत का ‘पंचामृत लक्ष्य’

⇒ ग्लासगो में ग्लोबल क्लाइमेट मीट (COP26) के पहले दिन प्रधानमंत्री ने दुनिया को 1.5 डिग्री सेल्सियस के लक्ष्य को हासिल करने में मदद के लिए पंचामृत लक्ष्य अथवा रणनीति का प्रस्ताव रखा है। प्रधानमंत्री ने अपनी योजना को ‘पंचामृत’ कहा, जिसका अर्थ है ‘पांच अमृत’।
⇒ प्रधानमंत्री ने निम्नलिखित ‘पंचामृत’ का प्रस्ताव रखा है:
1. भारत अपनी गैर – जीवाश्म ऊर्जा क्षमता को 2030 तक बढ़ाकर 500 गीगावाट कर देगा।
2. भारत 2030 तक अक्षय ऊर्जा के साथ अपनी ऊर्जा आवश्यकताओं का 50% पूरा करेगा।
3. भारत 2030 तक कार्बन उत्सर्जन में एक अरब टन की कमी करेगा।
4. भारत 2030 तक अपनी कार्बन तीव्रता में 45% की कमी करेगा।
5. भारत 2070 तक शुद्ध शून्य उत्सर्जन ( net zero emission) हासिल कर लेगा ।

State of the Climate in Asia

⇒ संयुक्त राष्ट्र के विश्व मौसम विज्ञान संगठन (WMO) ने 25 अक्टूबर, 2021 को ‘State of the Climate in Asia’ शीर्षक से अपनी वार्षिक रिपोर्ट जारी की।
⇒ इस रिपोर्ट के अनुसार, 2020 में एशिया को रिकॉर्ड पर अपने सबसे गर्म वर्ष का सामना करना पड़ा। इस रिपोर्ट के अनुसार चरम मौसम (extreme weather) महाद्वीप के विकास पर भारी असर डाल रहा है ।
⇒ 2020 में एशिया में बाढ़ और तूफान ने लगभग 50 मिलियन लोगों को प्रभावित किया, जिसमें लगभग 5,000 लोग मारे गए।
⇒ चीन को 238 अरब डॉलर, भारत को 87 अरब डॉलर, जापान को 83 अरब डॉलर और दक्षिण कोरिया को 24 अरब डॉलर का नुकसान हुआ।

छत्तीसगढ़: भारत का 53वां टाइगर रिजर्व 2021

⇒ 5 अक्टूबर, 2021 को राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) ने छत्तीसगढ़ सरकार के गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान और तमोर पिंगला वन्यजीव अभयारण्य के संयुक्त क्षेत्रों को टाइगर रिजर्व घोषित करने के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की। यह टाइगर रिजर्व भारत का 53वां टाइगर रिजर्व है ।

⇒ यह टाइगर रिजर्व मध्य प्रदेश और झारखंड की सीमा से लगे राज्य के उत्तरी भाग में स्थित है। उदंती – सीतानदी, अचनाकमार और इंद्रावती रिजर्व के बाद छत्तीसगढ़ में यह चौथा टाइगर रिजर्व है ।
⇒ इसके साथ ही राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) ने अरूणाचल प्रदेश के ‘ दिबांग वन्यजीव अभयारण्य एवं बिहार के कैमूर वन्यजीव अभयारण्य को टाइगर रिजर्व के रूप में सैद्धातिक मंजूरी दी।

भारत का पहला कार्बन कैप्चर प्लांट

⇒ टाटा स्टील ने झारखण्ड के जमशेदपुर वर्क्स में भारत का पहला कार्बन कैप्चर प्लांट की शुरूआत 15 सितम्बर, 2021 को की, ब्लास्ट फर्नेस गैस से सीधे CO, को निकालता है।
⇒ इस उपलब्धि के साथ टाटा स्टील ऐसी कार्बन कैप्चर तकनीक अपनाने वाली देश की पहली स्टील कंपनी बन गई है। सीसीयू प्लांट का उद्घाटन टाटा स्टील के सीईओ और एमडी टीवी नरेंद्रन ने किया ।
⇒ संयंत्र प्रतिदिन 5 टन CO2 ग्रहण कर सकता है। सर्कुलर कार्बन इकोनॉमी को बढ़ावा देने के लिए साइट पर कैप्चर किए गए CO2 का पुनः उपयोग किया जाएगा।

देश का पहला ग्रीन हाइड्रोजन संयंत्र

⇒ भारत की सबसे बड़ी तेल कम्पनी इण्डियन ऑयल कॉर्पोरेशन (IOC) ने जुलाई, 2021 में भविष्य में स्वच्छ ऊर्जा की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए अपनी मथुरा रिफाइनरी में देश का पहला ग्रीन हाइड्रोजन संयन्त्र स्थापित करने की घोषणा की।
⇒ इसके लिए कम्पनी ने एक रणनीतिक वृद्धि योजना तैयार की है, जिसका उद्देश्य आगामी 10 वर्षों में पेट्रोकेमिकल्स, हाइड्रोजन और इलेक्ट्रिक मोबिलिटी में स्थान बनाने के साथ ही अपने मुख्य रिफाइनिंग और ईधन विपणन व्यवसायों पर ध्यान केन्द्रित करना है।

देश का पहला उच्च राख कोयला गैसीकरण आधारित मेथनॉल उत्पादन संयंत्र

⇒ भारत हैवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (भेल) अनुसंधान एवं विकास केंद्र, हैदराबाद में भारत के पहले स्वदेशी रूप से डिजाइन किए गए उच्च राख कोयला गैसीकरण आधारित मेथनॉल उत्पादन संयंत्र का 2 सितम्बर, 2021 में उद्घाटन किया गया।
⇒ इस परियोजना को विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा वित्त पोषित किया गया है, जिसने नीति आयोग, पीएमओ – भारत सरकार और कोयला मंत्रालय की पहल पर 10 करोड़ रूपये का अनुदान प्रदान किया ।
⇒ यह संयंत्र प्रतिदिन 1.2 टन फ्लुइडाइज्ड बेड गैसीफायर का उपयोग करके उच्च राख वाले भारतीय कोयले से 0.25 टन प्रतिदिन (टीपीडी) मेथनॉल बना सकता है।

देश का पहला जैव-ईट आधारित भवन

⇒ कृषि कचरे से जैव-ईंटों से बनी भारत की पहली इमारत का उद्घाटन IIT हैदराबाद में सितम्बर, 2021 में किया गया । यह भवन
धातु के ढांचे द्वारा समर्थित जैव-ईंटों से बना है।
⇒ गर्मी को कम करने के लिए इस भवन के छत को पीवीसी शीट के ऊपर बायो- ईटों से भी बनाया गया है।

देश का पहला डुगोंग ( समुद्री गाय ) संरक्षण रिजर्व

⇒ तमिलनाडु राज्य सरकार ने पाक खाड़ी के उत्तरी भाग में ‘भारत का पहला डुगोंग संरक्षण रिजर्व’ स्थापित करने की घोषणा 3 सितम्बर, 2021 को की। डुगोंग को आमतौर पर समुद्री गाय के रूप में जाना जाता है।
⇒ भारतीय वन्यजीव संस्थान (WII) के अनुमान के अनुसार, इस समय केवल 200-250 डुगोंग बचे हैं, जिनमें से 150 तमिलनाडु में पाक खाड़ी और मन्नार की खाड़ी में पाए जाते हैं।
⇒ यह एक शाकाहारी स्तनपायी है ये तीन मीटर लंबे और 300 किग्रा. वजनी हो सकते हैं। इनकी आयु 25 वर्ष के लगभग होती है। ये समुद्री घास को चरते हैं और सांस लेने के लिए सतह पर आते हैं।

अंतर्राष्ट्रीय ब्लू फ्लैग प्रमाणित समुद्री तट

⇒ 22 सितम्बर, 2021 को तमिलनाडु के कोवलम और पुडुचेरी के ईडन समुद्र तट को ‘ब्लू फ्लैग’ प्रमाणन दिया गया।

⇒ उल्लेखनिय है कि 11 अक्टूबर, 2020 को भारत सरकार द्वारा अनुशंसित 8 समुद्र तटों को अंतर्राष्ट्रीय ब्लू फ्लैग प्रमाणन प्राप्त
हुआ था। इस प्रकार भारत के कुल 10 समुद्री तटों को ब्लू फ्लैग प्रमाणन प्राप्त हो चुका है।
⇒ अंतर्राष्ट्रीय ब्लू फ्लैग प्रमाणन से सम्मानित समुद्र तट हैं- कोवलम (तमिलनाडु), ईडन (पुडुचेरी), शिवराजपुर (द्वारका, घोघला (दीव), कासरकोड एवं पादुबिद्री (कर्नाटक), कप्पड़ (केरल) शकोंडा ( आंध्र प्रदेश), गोल्डन ( पुरी – ओडिशा) एवं राधानगर ( अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह )
⇒ प्रमाण-पत्र देने का निर्णय एक अंतर्राष्ट्रीय निर्णायक समिति के द्वारा किया गया, जिसके प्रतिष्ठित सदस्यों में यू.एन.ई.पी., यूएनडब्लूटीओ (UNWTO), एफ.ईई (FE.E) तथा आई.यू.सी.एन (IUCN) शामिल थे।
⇒ भारत सरकार अगले 5 वर्षों में 100 अन्य समुद्र तटों के लिए ‘ब्लू फ्लैग’ सम्मान प्राप्त करने की योजना बना रही है।

दुनिया का पहला प्लैटिपस अभयारण्य

ऑस्ट्रेलियाई संरक्षणवादियों ने प्लैटिपस के प्रजनन और पुनर्वास को बढ़ावा देने के उद्देश्य से दुनिया के पहले अभयारण्य का निर्माण करने की अपनी योजनाओं की घोषणा की है।
⇒ गौरतलब है कि जलवायु परिवर्तन के कारण बत्तखमुंह स्तनपायी (Duck-billed mammal) विलुप्त होने की कगार पर हैं।

⇒ टारोंगा कंजर्वेशन सोसाइटी ऑस्ट्रेलिया और न्यू साउथ वेल्स राज्य सरकार ने वर्ष 2022 तक सिडनी से 391 किमी दूर एक चिड़ियाघर में अर्ध-जलीय जीवों के लिए विशेषज्ञ सुविधा, ज्यादातर तालाब, और मांद बनाने की योजना की घोषणा की है।

बाघों के बेहतर संरक्षण के लिए वैश्विक CATS मान्यता

⇒ भारत के 14 बाघ अभयारण्यों को बाघों के बेहतर संरक्षण के लिए वैश्विक ‘कंजर्वेशन एश्योर्ड टाइगर स्टैंडर्ड्स’ (CATS) की मान्यता मिली है।
⇒ जिन 14 बाघ अभयारण्यों को मान्यता दी गई है, उनमें असम के मानस, काजीरंगा और ओरंग; मध्य प्रदेश के सतपुड़ा, कान्हा और पन्ना; महाराष्ट्र के पेंच; बिहार का वाल्मीकि टाइगर रिजर्व; उत्तर प्रदेश का दुधवा; पश्चिम बंगाल का सुंदरबन; केरल का परम्बिकुलम; कर्नाटक का बांदीपुर टाइगर रिजर्व और तमिलनाडु के मुदुमलाई और अनामलाई टाइगर रिजर्व शामिल हैं।
⇒ CATS: इसे टाइगर रेंज देशों (TRCs) के वैश्विक गठबंधन द्वारा मान्यता संबंधी उपकरण के रूप में स्वीकार किया गया है और इसे बाघ और संरक्षित क्षेत्र के विशेषज्ञों द्वारा विकसित किया गया है।

चीन का होटन दुनिया का सबसे प्रदूषित शहर

ब्रिटिश कंपनी हाउस फ्रेस द्वारा 18 अगस्त, 2021 को जारी वर्ष जहां 2020 में दुनिया के 50 शहरों की सूची में चीन का होटन शहर दुनिया का सबसे अधिक प्रदूषित शहर घोषित किया गया है, वहीं भारत का गाजियाबाद (उत्तर प्रदेश) सूची में दूसरे स्थान पर है।

⇒ गाजियाबाद में 2.5 पार्टिकुलेट मैटर (PM) का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक 106.6 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज किया गया है।
⇒ दुनियाभर के 50 सबसे प्रदूषित शहरों में से 49 शहरों में बांग्लादेश,
चीन, भारत और पाकिस्तान का योगदान है।
⇒ रिपोर्ट के अनुसार ऑस्ट्रेलिया का शहर जूडबरी ने सबसे स्वच्छ हवा वाले शहरों की सूची में 2.4 ug/m’ के PM 2.5 स्तर के साथ शीर्ष स्थान प्राप्त किया है।

देश की पहली हरित हाइड्रोजन परिवहन परियोजना

⇒ NTPC की 100 फीसदी सहायक कंपनी, ‘एनटीपीसी रिन्यूएबल एनर्जी लिमिटेड’ ने 13 जुलाई, 2021 को ‘देश की पहली हरित हाइड्रोजन परिवहन परियोजना’ स्थापित करने के लिए केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख के साथ एक समझौता किया गया।
⇒ समझौता ज्ञापन NTPC को अक्षय स्रोतों और हरित हाइड्रोजन के आधार पर लद्दाख को कार्बन मुक्त अर्थव्यवस्था विकसित करने में मदद करेगा। यह प्रधानमंत्री के ‘कार्बन मुक्त’ लद्दाख के दृष्टिकोण के अनुरूप भी है।

भारत के 35% बाघ क्षेत्र संरक्षित क्षेत्र से बाहर

⇒ वर्ल्ड वाइड फंड फॉर नेचर (WWF) और संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) द्वारा 8 जुलाई, 2021 को जारी रिपोर्ट ‘ए फ्यूचर फॉर ऑल-ए नीड फॉर ह्यूमन – वाइल्डलाइफ को – एग्जीस्टेंस’ के अनुसार वर्तमान में भारत के 35% बाघ क्षेत्र संरक्षित क्षेत्रों से बाहर हैं।
⇒ भारत के बाघों के अलावा 40% अफ्रीकी शेर क्षेत्र और 70% अफ्रीकी और एशियाई हाथी क्षेत्र संरक्षित क्षेत्रों से बाहर हैं।

दुनिया का पहला आनुवंशिक रूप से संशोधित रबर

⇒ रबर बोर्ड द्वारा गुवाहाटी के पास सरुतारी में बोर्ड के फार्म पर दुनिया का पहला आनुवंशिक रूप से संशोधित रबर का पौधा लगाया गया है।
⇒ संशोधित रबर का पौधा भारतीय रबड़ अनुसंधान संस्थान, पुथुपल्ली, कोट्टायम, केरल में विकसित किया गया था।

देहिंग पटकाई: असम का सातवां राष्ट्रीय उद्यान

⇒ असम सरकार ने ‘देहिंग पटकाई वन्यजीव अभ्यारण्य’ को राज्य का 7वां राष्ट्रीय उद्यान घोषित किया। इसका कुल क्षेत्रफल 111.19 वर्ग किलोमीटर है।
⇒ कोकराझार जिले में स्थित ‘रायमोना फॉरेस्ट रिजर्व’ असम का छठा राष्ट्रीय उद्यान बन गई है। कोकराझार जिले में 422 वर्ग फुट का वन्यजीव निवास स्थान मानस टाइगर रिजर्व के सबसे पश्चिमी बफर से जुड़ा हुआ है।
⇒ यह क्षेत्र हूलॉक गिब्बन, हाथी, स्लो लॉरिस, बाघ, तेंदुआ, क्लाउडेड तेंदुआ, सुनहरी बिल्ली, फिशिंग कैट, मार्बल कैट, सांभर, हॉग डियर, स्लॉथ बियर तथा लुप्तप्राय राज्य पक्षी सफेद पंख वाली बत्तख का घर है।

बेंगलुरू हवाई अड्डा नेट एनर्जी न्यूट्रल स्टेटस

⇒ बेंगलुरू के केम्पेगौड़ा अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे ने अपने सतत लक्ष्यों के हिस्से के रूप में वित्तीय वर्ष 2020-21 में नेट एनर्जी न्यूट्रल स्टेटस प्राप्त किया है।
⇒ वित्तीय वर्ष 2020-21 में बेंगलुरु अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा (BIAL) लगभग 22 लाख यूनिट ऊर्जा बचाने में सक्षम रहा है, जो एक महीने के लिए लगभग 9,000 घरों को बिजली देने के लिए पर्याप्त है।

मिशन इनोवेशन क्लीनटेक एक्सचेंज

⇒ भारत सहित 23 देशों की सरकारों ने सामूहिक रूप से मिशन इनोवेशन 2.0 नाम का एक नया बोल्ड प्लान शुरू किया है, जो स्वच्छ ऊर्जा अनुसंधान, विकास और प्रदर्शनों में वैश्विक निवेश के लिए कार्रवाई को उत्प्रेरित करने और नवाचार के एक दशक का नेतृत्व करने के लिए है।
⇒ मिशन इनोवेशन 2.0 वैश्विक मिशन इनोवेशन पहल का दूसरा चरण है, जिसे 2015, COP21 सम्मेलन में पेरिस समझौते के साथ लॉन्च किया गया था।
⇒ नई पहल चिली द्वारा आयोजित इनोवेटिंग टू नेट जीरो समिट (Innovating to Net Zero Summit) में शुरू की गई थी।

पुणे में तीन ई- 100 इथेनॉल वितरण स्टेशनों का शुभारंभ

⇒ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व पर्यावरण दिवस कार्यक्रम को वर्चुअली संबोधित किया, जिसे संयुक्त रूप से पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय और पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा आयोजित किया गया था।
⇒ कार्यक्रम के दौरान पीएम मोदी ने भारत में इथेनॉल सम्मिश्रण 2020-2025 के लिए रोड मैप पर विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट भी जारी की। रिपोर्ट का विषय ‘बेहतर पर्यावरण के लिए जैव ईंधन को बढ़ावा देना’ है।
⇒ सरकार ने 2025 तक पेट्रोल में 20 प्रतिशत एथेनॉल मिश्रण हासिल करने का लक्ष्य निर्धारित किया है पहले यह लक्ष्य 2030 तक पूरा किया जाना था।
⇒ भारत सरकार ने एक E-20 अधिसूचना जारी की है, जिसमें तेल कंपनियों को 1 अप्रैल, 2023 से 20% तक इथेनॉल के प्रतिशत के साथ इथेनॉल मिश्रित पेट्रोल; और उच्च इथेनॉल मिश्रणों के लिए BIS Specifications E12 और E15 बेचने का निर्देश दिया गया है।

ग्रीन सोलर एनर्जी हार्नेसिंग प्लांट

⇒ भारतीय सेना ने सिक्किम में पहला ग्रीन सोलर एनर्जी हार्नेसिंग प्लांट शुरू किया। इसे भारतीय सेना के सैनिकों को लाभ पहुंचाने के लिए लॉन्च किया गया।
⇒ प्लांट वैनेडियम आधारित बैटरी तकनीक का उपयोग करता है। इसे 16,000 फीट की ऊंचाई पर बनाया गया है। संयंत्र की क्षमता 56 KVA है | यह IIT मुंबई के सहयोग से पूरा हुआ।

अम्बोली: जैव विविधता विरासत स्थल के रूप में नामित

⇒ महाराष्ट्र सरकार ने सिंधुदुर्ग जिले में पश्चिमी घाटों में अम्बोली में एक क्षेत्र घोषित किया है, जहां एक दुर्लभ मीठे पानी की मछली की प्रजातियों को जैव विविधता विरासत स्थल के रूप में खोजा गया था।
⇒ मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बेटे तेजस ठाकरे, जो एक वन्यजीव शोधकर्ता हैं, और उनकी टीम ने सिंधुदुर्ग जिले की सावंतवाड़ी तहसील में अंबोली के पास नई मीठे पानी की मछली प्रजातियों – ‘शिस्टुरा हिरण्यकेशी’ की खोज की थी।

देश का पहला वन चिकित्सा केन्द्र

⇒ देश के पहले वन चिकित्सा केंद्र का उद्घाटन उत्तराखंड के रानीखेत में किया गया।
⇒ उत्तराखंड वन विभाग के रिसर्च विंग द्वारा वनों के उपचार गुणों और समग्र स्वास्थ्य और कल्याण पर इसके रीवाइटलाइज प्रभाव पर शोध के बाद वन चिकित्सा केंद्र विकसित किया गया है। यह लगभग 13 एकड़ के क्षेत्र में फैला हुआ है।

देश की पहली भू-तापीय बिजली परियोजना

⇒ देश की पहली भू-तापीय परियोजना पूर्वी लद्दाख के पूगा गांव में स्थापित की जाएगी।
⇒ वैज्ञानिकों ने पूगा की पहचान देश में भू-तापीय ऊर्जा के हॉटस्पॉट के रूप में की है। इस प्रायोगिक परियोजना के पहले चरण 1 मेगावॉट बिजली उत्पादन की क्षमता सृजित की जाएगी।
⇒ पहले चरण हेतु परियोजना की स्थापना और कार्यान्वयन के संबंध में 6 फरवरी, 2021 को त्रिपक्षीय समझौता -ज्ञापन हस्ताक्षरित हुआ।
कलिवेली वेटलैंड्स: तमिलनाडु का 16वां पक्षी अभयारण्य

⇒ फरवरी, 2021 में तमिलनाडु में विल्लुपुरम जिला प्रशासन द्वारा वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 के तहत कलिवेली वेटलैंड्स (Kaliveli . Wetlands) को पक्षी अभयारण्य घोषित करने की घोषणा की गई।
⇒ कलिवेली वेटलैंड्स पुलिकट झील के बाद दक्षिण भारत की दूसरी सबसे बड़ी खारे पाने की झील है। इसका क्षेत्रफल 670 वर्ग किमी. है।

लखवाड़ बिजली परियोजना

4 फरवरी, 2021 को केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय ने यमुना नदी पर लखवाड़ परियोजना को मंजूरी प्रदान की ।
⇒ बिजली उत्पादन के अलावा 6 राज्यों को इस परियोजना से सिंचाई और शुद्ध पेयजल भी प्राप्त होगा ।
⇒ इस परियोजना के तहत शामिल 6 राज्य हैं- उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान, दिल्ली और हिमाचल प्रदेश |
⇒ इस परियोजना से 300 मेगावॉट बिजली का उत्पादन होगा। परियोजना के निर्माण का कार्य उत्तराखंड जल विद्युत निगम लिमिटेड द्वारा किया जा रहा है।
⇒ लखवाड़ परियोजना को वर्ष 1976 में मंजूरी प्रदान की गई थी, किंतु इस परियोजना का कार्य वर्ष 1992 में रोक दिया गया था।
⇒ इस परियोजनांतर्गत उत्तराखंड के देहरादून के लोहारी गांव के निकट यमुना नदी पर 204 मीटर ऊंचा कंक्रीट बांध बनाया जा रहा है।

ओमान में सौर ऊर्जा परियोजना

⇒ 27 जनवरी, 2021 को स्टर्लिंग एंड विल्सन सोलर लिमिटेड ने ओमान में 25 मेगावाट की सौर ऊर्जा परियोजना की शुरूआत की।
⇒ यह स्टर्लिंग एंड विल्सन सोलर लिमिटेड (SWSL) द्वारा ओमान में चालू की गई दूसरी परियोजना है।
⇒ कंपनी ने जून, 2020 में ओमान में अपनी पहली 125 मेगावॉट की सौर ऊर्जा परियोजना शुरू की।

देश का पहला आर्द्रभूमि संरक्षण और प्रबंधन केंद्र

⇒ 2 फरवरी, 2021 को केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने चेन्नई स्थित संस्थान राष्ट्रीय सतत तटीय प्रबंधन केंद्र के एक भाग के रूप में आर्द्रभूमि संरक्षण एवं प्रबंधन केंद्र की स्थापना की।
⇒ इस केंद्र में विशेष शोध आवश्यकताओं और जानकारियों में कमी का समाधान निकाला जाएगा। साथ-साथ आर्द्रभूमियों के संरक्षण, प्रबंधन और उचित उपयोग के लिए एकीकृत रणनीतियों के उपयोग में सहयोग लिया जाएगा।
⇒ भारत में लगभग 4.6 प्रतिशत भूमि आर्द्रभूमि है, जिसका क्षेत्रफल 1.526 हेक्टेयर है।

नेचर क्लाइमेट चेंज: ध्रुवीय भालुओं पर अध्ययन

⇒ जलवायु परिवर्तन ध्रुवीय भालुओं को भूख से मरने के लिए विवश कर रहा है, जिसके कारण ये मांसाहारी जीव वर्ष 2100 तक विलुप्त हो सकते हैं।
⇒ यह संभावना जुलाई, 2020 में ‘नेचर क्लाइमेट चेंज’ में प्रकाशित एक अध्ययन में व्यक्त की गई है।
⇒ अध्ययन के निष्कर्षों के अनुसार, समुद्री बर्फ के समय से पहले पिघलने से बर्फ अनवरत कम हो रही है, जिससे ध्रुवीय भालू सील मछलियों का शिकार नहीं कर पा रहे हैं।

पश्चिम बंगाल में जलपक्षियों की गणना

⇒ 12 जनवरी से 2 फरवरी, 2021 के मध्य पश्चिम बंगाल वन विभाग द्वारा पहली बार जलपक्षियों की गणना की गई।
⇒ यह गणना 54 विभिन्न स्थानों पर की गई। इसमें वन कर्मचारी, गैर-सरकारी संगठन और पक्षी प्रेमियों सहित 800 से अधिक लोग शामिल हुए। इस गणना में सुंदरबन सहित राज्य की आर्द्रभूमि के जल पक्षियों की गणना की गई। यहां अब तक जल पक्षियों की 65 प्रजातियां पाई गई हैं।
⇒ पहली बार सुंदरबन में काले गले वाले ग्रीब पक्षी का भी पता लगाया गया है, जबकि क्षेत्र में विभिन्न स्थानों पर 4 हजार से अधिक ग्रेट नॉट पक्षी देखे गए थे।
⇒ गजोलडोबा में टीमों द्वारा 63 प्रजातियों के 7 हजार से अधिक पक्षियों को देखा गया है। साहपुर बोट्रिर बिल में 65 प्रकार की जल पक्षियों की प्रजातियां पाई गई हैं।

2020 ट्री सिटी ऑफ द वर्ल्ड

⇒ तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद को संयुक्त राष्ट्र के खाद्य और कृषि संगठन (FAO) और आर्बर डे फाउंडेशन द्वारा शहरी वनों के विकास और रख-रखाव की प्रतिबद्धता के लिए 2020 ट्री सिटी ऑफ वर्ल्ड के रूप में मान्यता दी गई।
⇒ हैदराबाद अब तक ट्री सिटी के रूप में मान्यता प्राप्त करने वाला भारत का एकमात्र शहर है। इस मान्यता के साथ यह समान विचारधारा वाले वैश्विक शहरों के नेटवर्क में शामिल हो गया है, जो स्वस्थ, लचीला और खुशहाल शहरों के निर्माण में पेड़ों के महत्व को पहचानते हैं।

भारत में तेंदुओं की स्थिति रिपोर्ट 2018

⇒ 21 दिसंबर, 2020 को पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा ‘भारत में तेंदुओं की स्थिति 2018’ (Status of Leopards in India 2018 ) नामक रिपोर्ट को जारी किया गया।
⇒ इस रिपोर्ट के अनुसार, भारत में तेंदुओं की आबादी में वर्ष 2014 से अब तक 60% की वृद्धि हुई है।
⇒ तेंदुओं की अनुमानित आबादी वर्ष 2014 में लगभग 8,000 थी, जो 2018 में बढ़कर 12,852 हो गई। तेंदुओं की सर्वाधिक आबादी मध्य प्रदेश में (3,421) है। इसके बाद क्रमश: कर्नाटक (1,783) और महाराष्ट्र (1690) दूसरे एवं तीसरे स्थान पर हैं।
⇒ मध्य भारत और पूर्वी घाट में तेंदुओं की संख्या सर्वाधिक (8071) है। पश्चिमी घाट में तेंदुओं की कुल संख्या 3,387 है।
⇒ शिवालिक और गंगा के मैदान में तेंदुओं की कुल संख्या 1,253 है। पूर्वोत्तर पहाड़ियों में तेंदुओं की कुल संख्या 141 है।
⇒ IUCN की रेड लिस्ट में तेंदुए को सुभेद्य (Vulnerable) के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
⇒ क्षेत्र की दृष्टि से मध्य भारत एवं पूर्वी घाट में सर्वाधिक तेंदुए (कुल 8071 ) देखे गए।

तेंदुओं की स्थिति रिपोर्ट-2018

राज्य / क्षेत्र ⇒ 2018 तक तेंदुओं की संख्या

• मध्य प्रदेश ⇒ 3421
• कर्नाटक ⇒ 1783
• महाराष्ट्र ⇒ 1990
• तमिलनाडु ⇒ 868
• उत्तर प्रदेश ⇒ 316
• बिहार ⇒ 98
• झारखण्ड ⇒ 46

देश का पहला शत-प्रतिशत जैविक केंद्रशासित प्रदेश

⇒ दिसंबर, 2020 में कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय ने केंद्रशासित प्रदेश लक्षद्वीप को जैविक कृषि क्षेत्र घोषित किया।
⇒ यह 100 प्रतिशत जैविक क्षेत्र का दर्जा हासिल करने वाला भारत का पहला केंद्रशासित प्रदेश है। इससे पूर्व सिक्किम राज्य ने यह दर्जा वर्ष 2016 में प्राप्त किया था।
⇒ उल्लेखनीय है कि वर्ष 2000 में उत्तराखंड ऑर्गेनिक फार्मिंग पॉलिसी लांच करने वाला देश का पहला राज्य था।

दो नए चिड़ियाघरों को मान्यता

⇒ 7 दिसंबर, 2020 को केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण की 37वीं आम सभा की बैठक में दो नए चिड़ियाघरों बिहार के नालंदा में राजगीर चिड़ियाघर सफारी और उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में शहीद अशफाक उल्लाह खान उद्यान को मान्यता प्रदान की गई।
⇒ राजगीर चिड़ियाघर विशेष रूप से केवल सफारी बाड़ है, जो पारंपरिक बाड़ों के विपरीत बंदी जानवरों के लिए बड़ा स्थान उपलब्ध कराता है। चिड़ियाघर में पांच सफारी बाड़े हैं और इसमें एक वॉक-इन का प्रस्ताव है।
⇒ राजगीर चिड़ियाघर में शेर, भालू, बाघ, तेंदुआ को रखा जाना और अन्य जीवों के साथ चित्तीदार हिरण, सांभर जैसे शाकाहारी जानवरों के लिए मिश्रित सफारी का प्रस्ताव है।
⇒ शहीद अशफाक उल्लाह खान प्राणी उद्यान, गोरखपुर, यूपी में स्थित है। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश राज्य में कुल 9 चिड़ियाघर हो गए हैं।

वैश्विक वन संसाधन आकलन, 2020

⇒ संयुक्त राष्ट्र खाद्य एवं कृषि संगठन द्वारा रिपोर्ट जारी की गई, जिसके अनुसार विश्व में कुल वन क्षेत्र – 4.06 बिलियन हेक्टेयर है, जो कुल भूमि का लगभग 31% है।
⇒ वैश्विक औसत 0.52 हेक्टेयर प्रति व्यक्ति विश्व के कुल वन का 45% उष्णकटिबंधीय वन है।
⇒ वर्ष 1990-20 के बीच 178 मिलियन हेक्टेयर वन भूमि क्षेत्रफल की कमी हुई है।

सर्वाधिक वन क्षेत्र वाले शीर्ष देश

देश ⇒ वन क्षेत्र मिलियन हेक्टेयर ⇒ वैश्विक वन क्षेत्र का प्रतिशत

• रूस ⇒ 815.3 ⇒ 20
• ब्राजील ⇒ 496.6 ⇒ 12
• कनाडा ⇒ 346.9 ⇒ 9
• भारत ⇒ 72.1 ⇒ 2 ( विश्व में वां स्थान )
नोट: विश्व के 14.8 मिलियन हेक्टेयर पर मैंग्रोव वन पाए जाते हैं। सर्वाधिक मैंग्रोव वन इंडोनेशिया में पाया जाता है जो पूरे विश्व का अकेले 19% हिस्सा रखता है।

बाघ गणना रिपार्ट 2018

⇒ 29 जुलाई, 2019 को अंतर्राष्ट्रीय बाघ दिवस के अवसर पर भारत में बाघों की वर्तमान स्थिति को लेकर वाइल्ड लाइफ इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा 2019 रिपोर्ट जारी की गई जिसमें बाघों की कुल सख्या 2967 बताई गई है।
⇒ 2014 और 2018 के बीच बाघों की आबादी में 33% वृद्धि दर्ज हुई है। विश्व के कुल बाघ आबादी का 70% भारत में निवास है ।
⇒ डाम्फा, बुक्सा एवं पलामू अभयारण्य में कोई भी बाघ नहीं पाया गया है।
⇒ उत्तराखण्ड स्थित जिमकार्बेट टाइगर रिजर्व में सबसे अधिक 231 बाघ पाये गए हैं।
⇒ देश में कुल बाघ आबादी का 63% टाइगर रिजर्व में रहते हैं।

किस राज्य में कितने बाघ

रैंक. ⇒ राज्य ⇒ बाघों की सं.

1. मध्य प्रदेश ⇒ 526
2. कर्नाटक ⇒ 524
3. उत्तराखण्ड ⇒ 442
4. महाराष्ट्र ⇒ 312
5. तमिलनाडु ⇒ 264
6. केरल ⇒ 190
7. उत्तर प्रदेश ⇒ 173
8. राजस्थान ⇒ 69
9. आन्ध्र प्रदेश ⇒ 48
10. बिहार ⇒ 31
11. अरू प्रदेश ⇒ 29
12. ओडिशा ⇒ 28
13. तेलंगाना ⇒ 26
14. छत्तीसगढ़ ⇒ 19
15. झारखण्ड ⇒ 5
16. गोवा ⇒ 3

रामसर संधि के अधीन भारत में अंतर्राष्ट्रीय महत्व के राज्यवार 49 दलदली क्षेत्र

राज्य/केन्द्रशासित ⇒ रामसर स्थल के नाम ⇒ घोषणा का वर्ष

1. आंध्र प्रदेश ⇒ (i) कोल्लेरू झील ⇒ 2002
2. असम ⇒ (i) दीपोर बील ⇒ 2002
3. गुजरात ⇒ (i) नालसरोवर पक्षीस्थल ⇒ 2012
(ii) थोल झील ⇒ 2021
(iii) बधावन आर्द्रभूमि ⇒ 2021
(iv) खिजड़िया वन्यजीव अभयारण्य ⇒ 2022
4. हिमाचल प्रदेश ⇒ (i) पोंगडम झील, ⇒ 2002
(ii) रेनुका दलदली क्षेत्र ⇒ 2005
(iii) चंदरताल दलदली क्षेत्र ⇒ 2005
5. जम्मू-कश्मीर ⇒ (i) वुलर झील, सोमोरीरी ⇒ 1990
(ii) होकेरा दलदली क्षेत्र ⇒ 2005
(iii) सुरीनंसर मानसर झील ⇒ 2005
6. लद्दाख ⇒ (i) त्सो – मोरीरी ⇒ 2002
(ii) त्सो कार आर्द्रभूमि ⇒ 2020
7. केरल ⇒ (i) अष्टमुडी दलदली क्षेत्र ⇒ 2002
(ii) सस्थामकोटा झील ⇒ 2002
(iii) वेमबनाद कोल दलदली क्षेत्र ⇒ 2002
8. मध्य प्रदेश ⇒ (i) भोज दलदली क्षेत्र ⇒ 2002
9. महाराष्ट्र ⇒ (i) नन्दूर मध्यमेश्वर पक्षी विहार ⇒ 2019
(ii) लोनार झील ⇒ 2020 ⇒10. मणिपुर
(i) लोकतक झील ⇒ 1990
11. ओडिशा ⇒ (i) चिल्का झील ⇒ 1981
(ii) भीतरकनिका ⇒ 2002
12. पंजाब ⇒ (i) हरिका झील ⇒ 1990
(ii) कन्जिली ⇒ 2002
(iii) रोपड़ ⇒ 2002
(iv) केशोपुर मिआनी ⇒ 2019
(v) नंगल वन्यजीव अभयारण्य ⇒ 2019
(vi) व्यास संरक्षण रिजर्व ⇒2019
13. राजस्थान ⇒ (i) सांभर झील ⇒ 1990
(ii) केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान ⇒ 1981
14. तमिलनाडु ⇒ (i) प्लाइंट कैलीमेरे वन्यजीव और पक्षी अभयारण्य ⇒ 2002
15. त्रिपुरा ⇒ (i) रूद्र सागर झील ⇒ 2005
16. उत्तर प्रदेश ⇒ (i) नवाबगंज पक्षी विहार ⇒ 2019
(ii) पार्वती अरंगा वन्यजीव विहार ⇒ 2019
(iii) समान पक्षी विहार ⇒ 2019
(iv) समसपुर पक्षी विहार ⇒ 2019
(v) सांडी पक्षी विहार ⇒ 2019
(vi) सरसई नाव झील ⇒ 2019
(vii) बृजघाट नरोरा ⇒2005
(vi) सुर सरोवर ⇒ 2020
(ix) हैदरपुर आर्द्रभूमि ⇒ 2021
(x) खिरा वन्यजीव अभयारण्य ⇒ 2022
17. पश्चिम बंगाल ⇒ (i) पूर्वी कोलकाता वेटलैंड ⇒ 2002
(ii) सुन्दरवन वेटलैंड ⇒ 2019
18. उत्तराखण्ड ⇒ (i) असन बैराज ⇒ 2020
19. बिहार ⇒ (i) कावर ताल पक्षी विहार ⇒ 2020
20. हरियाणा ⇒ (i) सुल्तानगंज राष्ट्रीय पार्क ⇒ 2021
(ii) भीण्डावास वन्यजीव अभयारण्य ⇒ 2021

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C K वर्मा
मैं चंदन कुमार वर्मा हूँ। मैं Competitive Student Classes ( News 4 CSC ) का मालिक हूँ। मेरे पास पिछले पांच सालों का ऑनलाइन पढ़ाने का अनुभव है। मैं पिछले पांच सालों से वेबसाइट पे आर्टिकल ( Question Paper with Answer and नई भर्तियों का ) डाल रहा हूँ।
https://news4csc.com

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